आगरा।मंगलवार को आगरा आये प्रदेश के अल्पसंख्यक कल्याण मुस्लिम वक्फ एवं हज राज्यमंत्री दानिश आजाद द्वारा किया गया एक एम्पोरियम का उद्घाटन शहर भर में चर्चा का विषय बन गया है। दरअसल उक्त निर्माण को अवैध बताते हुए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग 2018 में ताज़गंज थाने में मुकदमा दर्ज करा चुका है वही आगरा विकास प्राधिकरण प्रवर्तन प्रभारी ने अगस्त 2022 में निर्माण संबंधी अनुमति के साक्ष्य मांगे थे।
दरअसल भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण के अधिकारियो की शह पर 2010 तक नाले पर एक दस बाई दस की अवैध दूकान कब बड़े शोरूम का रूप ले गयी पता ही ना चला। लगातार शिकायते विभागों में हुयी कागजी कार्यवाही तो हुई लेकिन अवैध निर्माण को धवस्त नहीं किया गया।यह एंपोरियम नाले को पाट कर बनाया गया है। मार्बल कॉटेज एंड टेक्सटाइल शोरूम के नाम से एंपोरियम है। इस एंपोरियम को हटाने के लिए एडीए ने 2022 में निरंजन लाल को पत्र लिखकर निर्माण संबंधी दस्तावेज देने को कहा था। पत्र में लिखा था कि अगर जानकारी नहीं दी गई तो सुसंगत धाराओं में कार्यवाही की जाएगी।
2018 में 10 जनवरी को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग द्वारा थाना ताजगंज में तहरीर दी गई थी। जिस पर मुकदमा दर्ज किया गया था। शिकायत की गई थी कि ताजमहल के पूर्वी द्वार से 300 मीटर के घेरे में अवैध निर्माण कराया जा रहा है। यह निर्माण निरंजन लाल द्वारा एंगिल, गार्डर, क्रंकरीट पिलर बनाकर एमएस शीट लगाकर किया गया था।
मुकदमे के अनुसार प्राचीन स्मारक पुरातात्वि स्थल एवं अवशेष अधिनियम 1958 नियम 1959 व अधिसूचना संख्या 1764 और अवशेष विधेयक 2010 के अनुसार अवैध है। 2017 में इस निर्माण कार्य को हटाने के लिए नोटिस भी दिया गया था। लेकिन निर्माण कार्य लगातार जारी रहा। इसे लेकर प्राचीन स्मारक एवं पुरात्तवीय स्थल और अवशेष अधिनियम 1958 के अंतर्गत मुकदमा हुआ था।
इस बारे मे भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग के सुप्रीटेंडेंट डॉ. राजकुमार पटेल ने बताया कि वह आगरा से बाहर है।बुधवार को आगरा पहुंचकर इस मामले की जानकारी प्राप्त करूँगा।